तीसा-हिमगिरी मार्ग पर सदरूणी के पास वन विभाग की टीम ने 15 देवदार के स्लीपर पकड़े हैं। कुछ स्लीपर पर वन निगम के लॉट में कटने वाले पेड़ों के हैंबर (निशा...
तीसा-हिमगिरी मार्ग पर सदरूणी में वन विभाग ने पकड़े 15 स्लीपर
तीसा-हिमगिरी मार्ग पर सदरूणी के पास वन विभाग की टीम ने 15 देवदार के स्लीपर पकड़े हैं। कुछ स्लीपर पर वन निगम के लॉट में कटने वाले पेड़ों के हैंबर (निशान) लगे हैं, जबकि कुछ पर हैंबर नहीं हैं।
वन विभाग ने ये स्लीपर जब्त कर मामले की जांच शुरू कर दी है। वन मंडल अधिकारी ने रेंज अफसर को मामले की जांच कर रिपोर्ट सौंपने के निर्देश दिए हैं।
वन निगम दावा कर रहा है कि पकड़े गए स्लीपर उनके लॉट से संबंधित हैं, जबकि सभी स्लीपर पर इसके निशान नहीं हैं। ऐसे में वन विभाग ने निगम से ये स्लीपर लॉट का दर्शाने के लिए प्रमाण देने को कहा है। फिलहाल, निगम के एरिया मैनेजर और वन विभाग के रेंजर अफसर संयुक्त रूप से मामले में जांच में जुटे हैं। सवाल यह है कि यदि स्लीपर लाॅट के तहत काटे गए पेड़ों के हैं तो इन्हें जंगल से निकालकर सड़क तक कौन लाया। निगम के कर्मचारी और संबंधित ठेकेदार कुछ नहीं कर पाए। दूसरी तरफ, यदि ये स्लीपर जंगल से अवैध रूप से पेड़ काटकर निकाले गए हैं तो संबंधित वन रक्षक और अन्य कर्मचारी क्या करते रहे। विभाग इन सभी पहलुओं की जांच कर रहा है।
उधर, वन मंडल अधिकारी चुराह सुशील कुमार गुलेरिया ने बताया कि सदरूणी में सड़क के पास वन विभाग की टीम ने गश्त के दौरान 15 स्लीपर जब्त किए हैं। ये स्लीपर कहां से लाए गए, इसकी जांच के निर्देश संबंधित रेंज अफसर को दिए हैं।