कॉमन कॉर्प प्रजाति की मछली का यह बीज मत्स्य पालन विभाग के फिशिंग फार्म सुल्तानपुर में किया तैयार मत्स्य पालन विभाग की टीम ने चमेरा-प्रथम जलाशय में...
चमेरा-प्रथम जलाशय में डाला मछलियों का बीज
कॉमन कॉर्प प्रजाति की मछली का यह बीज मत्स्य पालन विभाग के फिशिंग फार्म सुल्तानपुर में किया तैयार
मत्स्य पालन विभाग की टीम ने चमेरा-प्रथम जलाशय में कॉमन कॉर्प प्रजाति की मछली का 27 हजार 300 बीज डाला गया। ये बीज मत्स्य पालन विभाग के फिशिंग फार्म सुल्तानपुर में तैयार किया गया है। कॉमन कॉर्प प्रजाति की मछली के बीज की विशेषता ये है कि इसकी ग्रोथ बहुत जल्दी होती है और एक वर्ष के भीतर ही इसका साइज और वजन अन्य मछलियों की अपेक्षा ज्यादा हो जाता है। इसका सीधा लाभ आगामी समय में मछुआरों को होगा। खैर, विभाग की ओर से मछुआरों की आर्थिकी को और बढ़ाने के लिए अपने स्तर पर प्रयास किए जा रहे हैं। मत्स्य विभाग के ऑब्जर्वर विवेक शर्मा ने बताया कि जिले में बहने वाली दो नदियां सालों से स्थानीय मछुआरों के साथ स्थानीय लोगों के लिए रोजी-रोटी का साधन बनी हुई हैं। प्रदेश सरकार इसमें और संसाधन कैसे बढ़ें, इसके लिए प्रयासरत है। शुक्रवार को मत्स्य विभाग की ओर से फिशिंग फार्म सुल्तानपुर में तैयार कॉमन कॉर्प प्रजाति की मछली का बीज चमेरा-प्रथम जलाशय में डला गया। बताया कि प्रदेश सरकार और केंद्र की सरकार के प्रयास हैं कि दूरदराज क्षेत्र, जिनके आसपास छोटे-छोटे नाले बहते हैं उनके किनारे इन मछलियों के टैंक बनाए जाएं जिससे मत्स्य पालन से जुड़े लोगों को इसका सीधा लाभ मिल सके।