उपायुक्त ने एक सप्ताह के भीतर भजौत्रा स्कूल में स्टाफ की तैनाती को लेकर अभिभावकों को आश्वासन दिया परन्तु एक माह बीतने पर एक भी प्रवक्ता की तैनाती नहीं...
भजोत्रा स्कूल में सौ विद्यार्थियों को पढ़ा रहा एक प्रवक्ता
उपायुक्त ने एक सप्ताह के भीतर भजौत्रा स्कूल में स्टाफ की तैनाती को लेकर अभिभावकों को आश्वासन दिया परन्तु एक माह बीतने पर एक भी प्रवक्ता की तैनाती नहीं
विधानसभा क्षेत्र डलहौजी के तहत राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला भजोत्रा में जमा एक और जमा दो कक्षाओं के बच्चों की पढ़ाई रामभरोसे चल रही है। अब अभिभावकों ने अध्यापकों के पद न भरने पर स्कूल में ताला जड़ने की चेतावनी दे दी है। हैरानी की बात है कि विद्यार्थियों की पढ़ाई प्रधानाचार्य के सहारे चल रही है। वह स्कूल के कामकाज के साथ-साथ समय निकालकर बच्चों को पढ़ा भी रहे हैं। अभिभावकों का कहना है कि उपायुक्त ने एक सप्ताह के भीतर भजौत्रा स्कूल में स्टाफ की तैनाती को लेकर उन्हें आश्वासन दिया था, लेकिन एक माह बीतने को हो गया है, मगर एक भी प्रवक्ता की तैनाती नहीं हो पाई है। इस कारण अभिभावकों में प्रशासन के प्रति भारी रोष है।
भजोत्रा स्कूल के बच्चों का भविष्य बिना अध्यापकों के रामभरोसे
स्कूल प्रबंधक समिति के अध्यक्ष कुलदीप कुमार, दर्शन कुमार, रोशन लाल, देसराज, कमलेश कुमार, पृथ्वी और प्रेम लाल ने कहा कि उपायुक्त के आश्वासन के बाद भी स्टाफ की तैनाती नहीं हुई है। अब वे इस मामले को लेकर हाईकोर्ट तक पहुंचाने के लिए मजबूर हो जाएंगे, क्योंकि बच्चों का भविष्य बिना अध्यापकों के रामभरोसे चल रहा है। कहा कि वर्तमान में स्कूल में प्रधानाचार्य तैनात है। शेष पांच विषयों के प्रवक्ताओं के पद रिक्त खाली चल रहे हैं। इनमें अंग्रेजी, हिंदी, इतिहास, कंप्यूटर सहित राजनीति विज्ञान विषय के प्रवक्ताओं के पद खाली हैं। इतना ही नहीं, छठी से दसवीं कक्षा तक पढ़ाने वाले अध्यापकों में टीजीटी मेडिकल अध्यापक, टीजीटी नॉन मेडिकल और शास्त्री अध्यापकों के पद खाली चल रहे हैं। अभिभावकों का कहना है कि इसको लेकर उन्होंने कई बार शिक्षा विभाग को प्रस्ताव और प्रशासन के आगे भी गुहार लगा बैठे हैं, लेकिन समस्या का आज दिन तक समाधान नहीं हो पाया है। स्कूल में स्टाफ की कमी के कारण उन्हें अपने बच्चों को मीलों दूर तेलका स्कूल भेजना पड़ रहा है। इससे बच्चों को तेलका में कमरे किराये पर लेने पड़ रहे हैं। कुछ परिवार बच्चों को तेलका भेजने में असमर्थ हैं और भजोत्रा स्कूल में बच्चों को पढ़ा रहे हैं, लेकिन स्टाफ न होने के कारण बच्चों की पढ़ाई प्रभावित हो रही है।